नई दिल्ली- 04 जुलाई। दिल्ली हिंसा के आरोपित शरजील इमाम ने जेल में अपनी जान को खतरा बताते हुए दिल्ली की कड़कड़डूमा कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। शरजील इमाम का कहना है कि जेल के अंदर कैदियों ने उसे आतंकवादी और देशद्रोही कहकर हमला किया है।
कड़कड़डूमा कोर्ट ने शरजील इमाम की राजद्रोह के मामले में दायर जमानत याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया है। कोर्ट जमानत याचिका पर 7 जुलाई को फैसला सुनाने वाला है। 11 अप्रैल को कड़कड़डूमा कोर्ट ने शरजील की जमानत याचिका खारिज कर दी थी। 24 जनवरी को कोर्ट ने इस मामले में शरजील इमाम के खिलाफ दाखिल चार्जशीट पर संज्ञान लिया था। कड़कड़डूमा कोर्ट ने राजद्रोह समेत दूसरी धाराओं के तहत आरोप तय करने का आदेश दिया था।
चार्जशीट में कहा गया है कि शरजील इमाम ने केंद्र सरकार के खिलाफ घृणा फैलाने और हिंसा भड़काने के लिए भाषण दिया, जिसकी वजह से दिसंबर 2019 में हिंसा हुई। दिल्ली पुलिस ने कहा है कि नागरिकता संशोधन कानून के विरोध की आड़ में गहरी साजिश रची गई थी। इस कानून के खिलाफ मुस्लिम बहुल इलाकों में प्रचार किया गया। यह प्रचार किया गया कि मुस्लिमों की नागरिकता चली जाएगी और उन्हें डिटेंशन कैंप में रखा जाएगा। गौरतलब है कि शरजील को बिहार से गिरफ्तार किया गया था।