उत्तराखंड के गौरीकुंड में भूस्खलन में 3 लोगों की मौत, 16 अभी भी लापता

रुद्रप्रयाग/गौरीकुंड- 04 अगस्त। केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ाव गौरीकुंड में भूस्खलन होने से 19 लोग लापता हो गए। इनमें से तीन लोगों के शव बरामद कर लिए गए हैं, जबकि 16 लोग अभी भी लापता चल रहे हैं। बताया जा रहा है कि कुछ लोग मंदाकिनी नदी के तेज बहाव में बह गए हैं, जिनकी खोज को लेकर मंदाकिनी से लेकर अलकनंदा नदी में सर्च अभियान जारी है।

गौरीकुंड में डाटपुलिया के समीप गुरुवार रात्रि लगभग 12 बजे के आस-पास भूस्खलन हो गया था। भूस्खलन के कारण सोनप्रयाग-गौरीकुंड राजमार्ग किनारे स्थित तीन दुकानें मंदाकिनी नदी में समा गई। जिस समय यह हादसा हुआ, उस समय इन दुकानों में लगभग 19 लोग मौजूद थे। रात के समय तेज बारिश होने के कारण रेस्क्यू अभियान चलाने में काफी दिक्कतें आई। सुबह के समय रेस्क्यू अभियान शुरू किया गया। इस दौरान तीन लोगों के शवों को खाई से निकाला गया। बाकी 16 लोगों की खोजबीन जारी है। घटना में लापता 14 लोग नेपाली मूल के हैं, जबकि दो लोग उत्तर प्रदेश और तीन लोग स्थानीय निवासी बताए गए हैं।

लापता चल रहे लोगों में कुछ बच्चे और युवा भी शामिल हैं। ये सभी लोग गौरीकुंड में दुकान और ढाबा का संचालन करके रोजगार करते थे। जनपद के प्रभारी मंत्री सौरभ बहुगुणा ने हादसे पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि गौरीकुंड से श्रीनगर तक लापता लोगों की खोजबीन को लेकर मंदाकिनी व अलकनंदा नदी में सर्च अभियान चलाने के निर्देश दिये गये हैं। दोपहर के समय डीएम डॉ सौरभ गहरवार और एसपी डॉ बिशाखा भदाणे भी घटना स्थल पर पहुंचे।

मौसम खराब होने के कारण यात्रियों को रोका गया—

मौसम खराब होने और जगह-जगह हाईवे पर बोल्डर आने के बाद केदारनाथ के दर्शन करने के बाद गौरीकुंड आये यात्रियों को अग्रिम आदेश तक सुरक्षित रोक दिया गया। दोपहर बाद गौरीकुंड में रोके गये यात्रियों को सुरक्षित तरीके से सोनप्रयाग भेजा गया। अब मौसम पूरी तरह से सही होने पर ही यात्रियों को केदारनाथ भेजा जायेगा।

चमोली हादसे के बाद गौरीकुंड घटना—

कुछ दिन पहले चमोली जिले में नमामि गंगे योजना के तहत बने सीवर ट्रीटमेंट प्लांट में करंट लगने से 17 लोगों की मौत हो गई थी। अब रुद्रप्रयाग जिले के गौरीकुंड में भूस्खलन की एक बड़ी घटना घट गई। इसमें 19 लोगों के लापता होने के बाद तीन लोगों के ही शव बरामद हो पाए हैं। देर रात करीब 12 बजे घटना घटने के बाद शुक्रवार सुबह चार बजे रेस्क्यू अभियान चलाया गया, जबकि रेस्क्यू अभियान की टीम रात दो बजे करीब घटना स्थल पर पहुंच गई थी। टीम को शुक्रवार दोपहर दो बजे तीन शव बरामद हुए, जबकि अभी तक 16 लोग लापता चल रहे हैं।

डीएम और एसपी भी मौके पर पहुंचे—

गौरीकुंड में डाटपुलिया के समीप भारी भू-स्खलन की घटना की सूचना पर जिलाधिकारी डॉ सौरभ गहरवार, पुलिस अधीक्षक डॉ विशाखा अशोक भदाणे घटना स्थल पर पहुंचे और मौके पर राहत एवं बचाव कार्य में लगी रेस्क्यू टीम से घटना के संबंध में जानकारी प्राप्त की। जिलाधिकारी ने भूस्खलन के कारण लापता हुए लोगों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि जिला प्रशासन पीड़ित परिवारों के साथ है। उन्होंने रेस्क्यू कार्य में लगी डीडीआरएफ, एसडीआरएफ, एनडीआरएफ, वाईएमएफ, पुलिस एवं प्रशासनिक टीमों कई निर्देश दिए। उन्होंने घटना स्थल पर हो रहे भूस्खलन से आवाजाही को सावधानी से कराने के निर्देश दिए तथा टीमों को सतर्कता से कार्य करने के निर्देश दिए।

ये हुए लापता—

– आशु उम्र 23 साल निवासी जलई

– प्रियांशु चमोला पुत्र कमलेश चमोला उम्र 18 साल निवासी तिलवाड़ा

– रणबीर सिंह उम्र 28 साल निवासी बस्टी

– अमर बोहरा पुत्र मान बहादुर बोहरा निवासी नेपाल

– अनिता बोहरा पुत्री अमर बोहरा उम्र 26 साल निवासी नेपाल

– राधिका बोहरा पुत्री अमर बोहरा उम्र 14 साल निवासी नेपाल

– पिंकी बोहरा पुत्री अमर बोहरा उम्र 8 साल निवासी नेपाल

– पृथ्वी बोहरा पुत्र अमर बोहरा उम्र 7 साल निवासी नेपाल

– जटिल पुत्र अमर बोहरा उम्र 6 साल निवासी नेपाल

– वकील पुत्र अमर बोहरा उम्र 3 साल निवासी नेपाल

– विनोद पुत्र बदन सिंह उम्र 26 साल निवासी खानवा भरतपुर

– मुलायम पुत्र जसवंत सिंह उम्र 25 साल निवासी नगला बंजारा, सहारनपुर, उत्तर प्रदेश

– बीर बहादुर पुत्र हरि बहादुर

– सुमित्रा पत्नी बीर बहादुर

– निशा पुत्री बीर बहादुर निवासी जिला होमला आंचल करनाली, नेपाल

– धर्मराज पुत्र मुन बहादुर जिला करनाली, नेपाल

– चंद्र कामी पुत्र लाल बहादुर

– सुखराम रावत पुत्र जोरा निवासी नेपाल

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Author: lakshyatak

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