मधुबनी-02 मई। अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश वेद प्रकाश मोदी की अदालत ने रौशन आरा हत्याकांड में सजा करार दिए गए पति मकसूद आलम और ननद रिजवाना खातून को उम्रकैद की सजा सुनाई है। दस-दस हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है। मंगलवार को सजा के बिन्दु पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने फैसला सुनाया। बहस के दौरान अपर लोक अभियोजक जगदीश प्रसाद यादव ने दोनों को कड़ी से कड़ी सजा देने की मांग की थी।
एपीपी ने बताया कि सात अप्रैल 2018 को दोनों आरोपितों ने बिस्फी पतौना थाना क्षेत्र अंतर्गत ओसरा गांव स्थित अपने घर पर गला दबाकर रौशन आरा की हत्या कर दी। घटना को लेकर रेहाना खातून ने थाना में एफआईआर दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि घटना से लगभग 20 वर्ष पूर्व रौशन आरा की शादी गांव के ही मकसूद आलम के साथ हुआ था। रौशन आरा से मकसूद को तीन बच्चे हुए, परंतू तीनों की मौत हो गई। बाद में मकसूद दूसरी शादी कर लिया। मकसूद ने पहले रौशन आरा को घर से भगाने की कोशिश की, बाद में उसकी हत्या कर दी।
