
विधायकों के करप्ट होने की अफवाह बीजेपी ने फैलाई, चुनाव बाद कोई केन्द्रीय नेता नहीं आएगा राजस्थान: CM गहलोत
जयपुर- 17 अक्टूबर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की ओर से फैलाई गई बदनामी के कारण राजस्थान आज देशभर में चर्चित हो गया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह राजस्थान में सरकार गिरा नहीं पाए। इसके बाद राजस्थान का ओरा देशभर में अलग तरह का बन गया है। मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और कर्नाटक की सरकारें गिरा दीं, लेकिन राजस्थान में ये सरकार नहीं गिरा पाए। इसका श्रेय हमारे अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़ने ने कल राजस्थान की जनता को दिया था। अगर जनता हमारे खिलाफ होती। अगर जनता का रुख हमारे साथ नहीं होता तो सरकार नहीं बचती। एमएलए भी जनप्रतिनिधि है, वह जनता का मूड देखता है।
मुख्यमंत्री गहलोत मंगलवार दोपहर जयपुर से दिल्ली के लिए रवाना हुए। इससे पहले जयपुर एयपाेर्ट पर उन्होंने पत्रकारों से बातचीत की। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र, राजस्थान, मध्यप्रदेश और कर्नाटक में लिए होंगे। वहां पर तो 35-35 करोड़ के आरोप लगे थे। महाराष्ट्र में तो 50 करोड़ के लग रहे हैं। आप बता दीजिए उनको कोई पूछता है क्या? मालूम पड़ता है कि क्या और किसने लिए? डेमोक्रेसी खत्म करने का यह बड़ा खेल हो रहा है। गहलोत ने कहा कि उस वक्त टच एंड गो मामला था, लेकिन आप देखिए सरकार की कितनी बड़ी गुडविल थी और किस प्रकार पब्लिक का सपोर्ट मिल रहा था। लोगों ने विधायकों से कहा कि अगर छह महीने भी होटल में रुकना पड़े तो रुकिए, लेकिन सरकार नहीं गिरनी चाहिए। आपको पीछे नहीं हटना है। टच एंड गो का मतलब समझ गए आप, बहुत मामूली अंतर से उस वक्त हमने सरकार बचाई है।
मुख्यमंत्री ने सियासी संकट को याद करते हुए बीजेपी के साथ सचिन पायलट खेमे के विधायकों पर इशारों में निशाना साधा। गहलोत ने कहा कि विधायकों के ज्यादा करप्ट होने की अफवाह बीजेपी और आरएसएस ने फैलाई है। अगर ये विधायक करप्ट होते तो 10 करोड़ की पहली किस्त इन्होंने क्यों नहीं ली? विधायक करप्ट होते तो ले लेते। इनको तो कोई कहने वाला ही नहीं था। कोई पूछने वाला नहीं था। जिन्होंने लिए होंगे, उन्हें कोई पूछ रहा है क्या? हमारे विधायक करप्ट होते तो सियासी संकट के वक्त 10-10 करोड़ रुपये मिल रहे थे, वो नहीं छाेड़ते। अगर लालच होता तो ले लेते। दस करोड़ मिल रहे थे। दस करोड़ कौन छोड़ना चाहेगा? आरोप लगाना बड़ी आसान बात है कि विधायकों ने करप्शन बहुत किया। आजकल जमाना आरोपों का ही है और आप किसी के ऊपर भी आरोप लगा सकते हैं।
उन्होंने कहा कि दस करोड़ रुपए तो इनको होटल में बैठे ऑफर हो रहे थे। राज्यपाल ने जब विधानसभा सत्र बुलाने की तारीख तय की थी तो उसके बाद तो विधायकों की रेट बढ़ गई थी। उसके बाद तो 10 से 20, 30, 40 करोड़ रुपये तक दे रहे थे, आप जितना बोलो उतना दे रहे थे। उनको तीन-चार विधायकों की जरूरत थी। आज सब राजस्थान की चर्चा इसीलिए करते हैं कि सरकार बच कैसे गई? जब महाराष्ट्र इतना बड़ा राज्य है। देश की आर्थिक राजधानी है। बड़े-बड़े दिग्गज वहां पर हैं। वहां सरकार नहीं बचा पाए। कर्नाटक में हमारी सरकार गिरा दी गई। मध्य प्रदेश में 15 साल बाद सरकार बदली और वह गिरा दी। राजस्थान की सरकार नहीं गिरी, आज देश में मैं खुद चर्चा में हूं। मेरी सरकार चर्चा में है, कांग्रेस चर्चा में है। राजस्थान चर्चा में है, इसका श्रेय यहां की जनता को जाता है। यह जनता बीजेपी से बदला लेकर रहेगी, जिन्होंने सरकार गिराने का प्रयास किया। गजेंद्र सिंह, धर्मेंद्र प्रधान और अमित शाह शामिल थे। प्रधानमंत्री का क्या आशीर्वाद था या नहीं था, यह नहीं मालूम।
उन्होंने कहा कि जब ये वोट मांगने आएंगे तो लोग याद करेंगे कि ये वही लोग हैं। सरकार को गिराकर राजस्थान की बेइज्जती कर रहे थे। जनता यहां की सरकार की परफॉर्मेंस, स्कीम्स को देखकर वोट देगी।
गहलोत ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि बीजेपी वाले हिंदुत्व की बात करते हैं, हम हिंदू नहीं हैं क्या? जब जनता पूछेगी कि हिंदुत्व पर तो यह सरकार ज्यादा काम कर रही है, इसका बीजेपी के नेता जवाब दें। बीजेपी खाली बातें कर रही है और काम हम कर रहे हैं। सरकार बचाने वाले 102 विधायकों को टिकट देने के सवाल पर गहलोत ने कहा कि कुछ लोगों की शिकायत हो सकती है। मैं नहीं कह सकता कि सर्वे में क्या नाम आएगा? उनका क्या होगा? मैं मानता हूं कि सभी विधायक करप्ट नहीं होते हैं। हमारे जो काम होते हैं विधायकों के जरिए होते हैं। आज हमारे कामों की तारीफ हो रही है, वह काम किसने करवाया? विधायकों ने जो मांगा, वह दिया। वह काम किसने मांगा, विधायक ने मांगा। जनता से जुड़ा हुआ विधायक ही है। उसको आप कैसे हटाओगे।



