ऑतेहरान- 07 जुलाई। ईरान में ब्रिटिश दूतावास के उपप्रमुख गाइल्स ह्विटेकर को गिरफ्तार किया गया है। उन पर जासूसी के आरोप लगे हैं। उनके साथ ऑस्ट्रियाई दूतावास के प्रतिनिधि की पत्नी सहित कुछ अन्य राजनयिकों को भी गिरफ्तार किया गया है। हालांकि, ब्रिटेन ने गिरफ्तारी के दावे को झूठा बताकर संबंधित उपप्रमुख द्वारा पहले ही ईरान छोड़ देने की बात कही है।
ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड्स (आईआरजी) ने दावा किया है कि एक मिसाइल अभ्यास के दौरान ईरान स्थित ब्रिटिश दूतावास के उपप्रमुख गाइल्स ह्विटेकर सहित कुछ राजनयिक प्रतिबंधित क्षेत्र में मिट्टी के नमूने ले रहे थे। इनके साथ ईरान स्थित ऑस्ट्रियाई दूतावास के एक राजनयिक की पत्नी भी वहां थीं। इनके कृत्य को जासूसी करार देते हुए आईआरजी ने एक वीडियो भी जारी किया है।
इस वीडियो में दावा किया गया है कि ह्विटेकर उस स्थान पर खड़े हैं, जहां ईरान की सेना मिसाइल का परीक्षण कर रही है। इसके बाद ब्रिटिश दूतावास के उपप्रमुख ने क्षमा याचना भी की किन्तु उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। इसके अलावा ऑस्ट्रियाई दूतावास के एक राजननयिक की पत्नी सहित कुछ अन्य राजनयिकों को भी गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार किए गए लोगों में से एक विश्वविद्यालय एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत ईरान आया था।
आईआरजी का दावा है कि इन लोगों ने कुछ स्थानों से मिट्टी के नमूने एकत्र किए और ये लोग जासूसी कर रहे थे। अब इनकी अन्य गतिविधियों की जांच भी की जा रही है। ईरान के दावे के विपरीत ब्रिटेन ने इन दावों को खारिज किया है। ईरान में ब्रिटेन के राजदूत सिमन शेरलिफ ने ट्वीट करके गिरफ्तारी की बात को झूठा करार दिया और कहा कि जिस राजनयिक की गिरफ्तारी का दावा किया जा रहा है, वे पहले ही ईरान छोड़ चुके हैं।