
BIHAR:- सदन में विपक्ष की भूमिका में नजर आए BJP विधायक, शौचालय निर्माण के मुद्दे पर अपनी ही सरकार को घेरा
पटना- 29 जून। बिहार विधानसभा मानसून सत्र के चौथे दिन बुधवार को सदन की कार्यवाही में विपक्ष शामिल नहीं हुआ। विपक्ष की अनुपस्थिति में भाजपा विधायक ने ही सरकार को सवालों के घेरे में घेरा।
सत्ता दल में शामिल भाजपा विधायक अरुण शंकर प्रसाद ने सदन में शौचालय निर्माण का मुद्दा उठाया। उन्होंने पूछा कि एक सर्वे में पाया गया है कि बिहार के 62 फीसदी घरों में ही शौचालय है। 38 फीसदी घरों में शौचालय नहीं है। इसमें बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार है। इस सर्वे रिपाेर्ट से बिहार की बदनामी हुई है। बिहार की नाक कट गयी है। आखिर सरकार क्या कर रही है।
भाजपा विधायक के इस सवाल का जवाब ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार ने देते हुए सदन को बताया कि सरकार बिहार के शत प्रतिशत घरों में शौचालय हो इसके लिए लगातार प्रयास कर रही है। जांच करवायी गयी है। जांच में चालीस हजार शौचालय निर्माण में गड़बड़ी पकड़ी गई है। शौचालय के बिना अब कोई न रहे इस पर सरकार काम कर रही है। नौ हजार सार्वजनिक शौचालय बनवाये गए हैं। अधिकांश अनुसूचित जाति-जनजाति के लोगों में शौचालय की कमी है। 77 फीसदी घरों में शौचालय है। हमारी कोशिश है कि सभी के घरों में शौचालय हो।
भाजपा विधायक के सवालों में से एक वाक्य का विरोध करते हुए कि बिहार की नाक कट गयी पर जदयू विधायक रत्नेश सदा ने सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि आखिर भाजपा भी तो सरकार में है। भाजपा विधायक गलत बोल रहे हैं। इस पर अध्यक्ष ने एतराज जताया और कहा कि इसका कोई मतलब नहीं है। इसके बाद उन्होंने जदयू विधायकों को कहा आप बैठिए…दूसरा कोई पूरक हो तो पूछें। बैठने से पहले जदयू विधायक रत्नेश सदा ने शौचालय बनाने की राशि में बढ़ोतरी की मांग की। विधायक ने कहा कि शौचालय बनाने की राशि को बढ़ाई जाये। 12 हजार रुपये में शौचालय नहीं बन पा रहा है।
भाजपा विधायक ने उठाया दो तालाबों के जीर्णोद्धार का सवाल
भाजपा के झंझारपुर विधायक नीतीश मिश्रा ने सरकार से पूछा कि सहरसा के मत्स्यगंधा तालाब की तरह झंझारपुर में दो तालाबों का जीर्णोद्धार और सौंदर्यीकरण हो। इस पर लघु जल संसाधन विभाग के मंत्री संतोष कुमार सुमन ने जवाब दिया। उन्होंने कहा कि सहरसा और झंझारपुर के तालाब में अंतर है। आप जिस तालाब की बात कर रहे हैं उसके 70 फीसदी भाग में पानी है। तीस फीसदी हिस्सा सूखा है। जिस वजह से काम करने में दिक्कत है। फिर भी हम टीम भेजकर जांच करायेंगे। इस पर नीतीश मिश्रा ने कहा कि मंत्री का कहना सही लेकिन तालाब के बाहरी स्थानों का तो सौंदर्यीकरण किया जा सकता है।



