
प्रकृति ही सबसे बड़ा गुरु, इसमें ज्ञान व विज्ञान का भंडार
चार दिवसीय विज्ञान व प्रकृति आधारित कार्यशाला शुरू
मधुबनी-13 नवंबर। प्रकृति ही सबसे बड़ा गुरु है। इसमें ही ज्ञान व विज्ञान का भंडार निहित है। मानव के विकास की गाथा इसकी समझ, प्रेरणा और मार्गदर्शन से लिखी गयी है। चार दिवसीय विज्ञान लोकप्रियकरण कार्यशाला को संबोधित करते हुए डा. प्रो. कुंवर जी राउत ने यह बात कही। भारत सरकार के विज्ञान प्रसार और साइंस फॉर सोसायटी के संयुक्त पहल पर रीजनल सेकेन्डरी स्कूल में हुए कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि जिसने भी प्रकृति का स्पर्श किया। उसका मन अपने रास्ते पर आगे ही आगे गया है। कवि, विज्ञानी,किसान संवेदनशील सृजनशील बन मानव और दुनिया का हमेशा भला किया है। विज्ञान को सर्व व्यापीकरण करने में सफलता हासिल की। खादी तथा ग्रामोद्योग संघ पटना के तत्वाधान में आयोजित इस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सचिव मो. जावेद आलम ने बताया कि बिहार के दो जिले पटना एवं मधुबनी में यह कार्यशाला हो रहा है,जो बहुत बड़ी बात है। बताया कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण से जीवन आगे बढ़ा है। तथा यह और आगे बढ़ेगा। डीपीओ माध्यमक शिक्षा नवीन ठाकुर ने विज्ञान के प्रचार व प्रसार में रीजनल सेकेन्डरी स्कूल के योगदान की उन्होंने सराहना की। निदेशक सह बाल विज्ञान कांग्रेस के राज्य संयोजक डा. आरएस पांडेय ने कहा कि प्रकृति को अपना शिक्षक बनायें। प्रकृति से बनी दूरी समस्याओं की जड़ है। प्रकृति अध्ययन को जीवन के लिए जरूरी बताते हुए कहा कि प्रकृति से जोड़ा गया नाता मानव को सफल बनाता है। जिला संयोजक सह प्राचार्य मनोज कुमार झा और ई प्रत्युष परिमल ने बच्चों को चारों ओर जानी पहचानी से शिक्षा शुरू करनी चाहिए। मौके पर आत्मा अध्यक्ष सीताराम यादव,राजीव कुमार, धर्मेन्द्र कमार पांडेय,पवन तिवारी व अन्य थे। इस कार्यशाला में दस स्कूलों के 50 बच्चें एवं दस विज्ञान षिक्षक भाग ले रहे हैं।
10 स्कूलों के 50 बच्चे ले रहे हैं भाग—
इस कार्यशाला में दस स्कूलों के 50 बच्चे भाग ले रहे हैं। इस कार्यशाला में वाटसन प्लस टू उच्च विद्यालय, रीजनल सेकेन्डरी स्कूल,पोल स्टार,शिवगंगा बालिका प्लस टू विद्यालय, ट्रिनीटी इंटरनेशनल स्कूल, विवेकानंद मिशन विद्यापीठ, डीपीएस बसुआरा, जीएमएसएस प्लस उवि, रमादत्त प्लस उवि जितवारपुर व महंथ युगल नारायण उवि शंभूआड़ के छात्र भाग ले रहे हैं। यहां के एक विज्ञान शिक्षक भी इस कार्यशाला में हिस्सा ले रहे हैं। 14 को दूसरे दिन एफ लेवल के वैज्ञानिक डा.वीके त्यागी बच्चे को प्रकृति से जुड़े तथ्यों से अवगत करायेंगे। जानकारी देते हुए जावेद आलम ने बताया कि सभी कुछ प्रयोगिक तौर पर प्रदर्शित किये जायेंगे।



