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ग्रामीणों ने नहीं, एनआईए अधिकारियों ने हमला किया: ममता बनर्जी

कोलकाता- 06 अप्रैल। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शनिवार को आरोप लगाया कि पूर्व मेदिनीपुर जिले के भूपतिनगर इलाके में ग्रामीणों ने राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) के अधिकारियों पर हमला नहीं किया, बल्कि एनआईए के अधिकारियों ने उनपर (ग्रामीणों पर) हमला किया।

मुख्यमंत्री ने दावा किया कि जांच एजेंसी का दल 2022 में पटाखा विस्फोट की एक घटना की जांच के सिलसिले में तड़के ग्रामीणों के घरों में गया था। बनर्जी ने दक्षिण दिनाजपुर जिले के बालुरघाट में एक चुनावी रैली के दौरान कहा कि हमला भूपतिनगर की महिलाओं ने नहीं किया था, बल्कि राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (के अधिकारियों) ने हमला किया था।
उन्होंने कहा कि अगर महिलाओं पर हमला होगा तो क्या महिलाएं शांत बैठी रहेंगी? उन्होंने कहा कि दिसंबर 2022 की घटना को लेकर एनआईए अधिकारियों का उनके घरों में जाने का उन्होंने केवल विरोध किया था।

पुलिस ने बताया कि भूपतिनगर इलाके में 2022 के बम विस्फोट मामले की जांच के लिए गए एनआईए की टीम पर ग्रामीणों ने शनिवार को हमला कर दिया। उसने बताया कि एनआईए अधिकारियों की एक टीम ने इस मामले के संबंध में शनिवार सुबह दो लोगों को गिरफ्तार किया और यह टीम कोलकाता वापस जा रहा था, तभी उसके वाहन पर हमला हुआ। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि स्थानीय लोगों ने वाहन को घेर लिया और उस पर पथराव किया। एनआईए ने कहा है कि उसका एक अधिकारी घायल भी हुआ है। उन्होंने बताया कि एनआईए ने भी इस संबंध में पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। भूपतिनगर में तीन दिसंबर, 2022 को एक कच्चे घर में हुए विस्फोट में तीन लोगों की मौत हो गई थी। बाद में मामले की जांच एनआईए को सौंप दी गई थी। तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ने केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा की सरकार पर चुनाव जीतने के लिए केंद्रीय एजेंसियों के इस्तेमाल की कोशिश का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, ‘‘हम चाहते हैं कि निर्वाचन आयोग भाजपा-संचालित आयोग न बने, बल्कि निष्पक्षता से काम करे।’’ उन्होंने निर्वाचन आयोग द्वारा राज्य के पुलिस अधिकारियों के तबादले पर सवाल उठाते हुए पूछा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) और आयकर विभाग (आईटी) के अधिकारियों को क्यों नहीं बदला गया।

बनर्जी ने रैली में कहा, ‘‘अगर आप (भाजपा) में ताकत है, तो चुनाव लोकतांत्रिक तरीके से लड़ कर जीतें। मेरे बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं और चुनाव एजेंट को गिरफ्तार न करें।’’ उन्होंने कथित भूमि घोटाले में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और आबकारी नीति से संबंधित मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को केंद्रीय एजेंसियों द्वारा गिरफ्तार किए जाने की निंदा की। उन्होंने कहा कि चुनाव में सभी को समान अवसर मिलने चाहिए।

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